The smart Trick of पारद शिवलिंग का अभिषेक That Nobody is Discussing
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स्फटिक शिवलिंग; रंगहीन या सफेद खनिज (स्फटिक) से बनाया जाता है।
पारद शिवलिंग मंत्र : पारद शिवलिंग की पूजा कैसे की जाती हे?
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आध्यात्मिक विकास: स्फटिक शिवलिंग की उपस्थिति से आध्यात्मिक ज्ञान और विकास को बढ़ावा मिलता है।
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पारद को भगवान शिव का स्वरूप माना गया है और ब्रह्माण्ड को जन्म देने वाले उनके वीर्य का प्रतीक भी इसे माना जाता है। धातुओं में अगर पारद को शिव का स्वरूप माना गया है तो ताम्र को माँ पार्वती का स्वरूप। इन दोनों के समन्वय से शिव और शक्ति का सशक्त रूप उभर कर सामने आ जाता है। ठोस पारद के साथ ताम्र को जब उच्च तापमान पर गर्म करते हैं तो ताम्र का रंग स्वर्णमय हो जाता है। इसीलिए ऐसे शिवलिंग को सुवर्ण रसलिंग भी कहते हैं।
ऐसी अद्भुत महिमा है पारे के शिवलिंग की। आप भी इसे अपने घर में स्थापित कर घर में समस्त दोषों से मुक्त हो सकते हैं। लेकिन ध्यान अवश्य रहे कि साथ में शिव परिवार को भी रख कर पूजन करें।
इसके पश्चात जिस स्थान पर भी इसे स्थापित करें उस जगह की पहले साफ़ get more info सफाई जरूर कर लें।
शिवलिंग की साफ-सफाई का विशेष ध्यान रखना चाहिए। बर्तन में शुद्ध जल भरकर उसमे शिवलिंग को रखे और उसका नियमित रूप से अभिषेक करना चाहिए।